Amit Shah-Home Minister Of India(वर्तमान गृह मंत्री – अमित शाह)

आज कल देश में दो लोगों के बारे में बहुत बातें होती है एक है हमारे देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और दूसरे है अमित शाह(Amit Shah) जी हां आज हम बात करेंगे अमित शाह के बारे में तो चलिए शुरू करते है

1. आरंभिक जीवन(Early life of amit shah)

अमित शाह जी का जन्म 22 अक्टूबर 1964 को सपनों की नगरी मुम्बई में हुआ था , अमित शाह जी के पिताजी अनिल चंद्र शाह एक सफल व्यापारी थे जो पी. वी. सी पाइप बेचा करते थे
अमित शाह जी की आरंभिक शिक्षा मेहसाना में हुई उसके बाद वे अपनी आगे की पढाई के लिए अहमदाबाद आ गए, बायो केमिस्ट्री से बी.एस सी की है फिर उन्होने कुछ समय के लिए अपने पिताजी के व्यापार में हाथ बटाया और उसके बाद फिर स्टोक ब्रोकर के तौर पर भी काम किया और फिर सन 2000 में इन्होने को ऑपरेटीव बैंक अहमदाबाद जॉइन किया और वहां के हेड का पद भार संभाला जिस समय इन्होने बैंक जॉइन किया तब ये बैंक 27 करोड़ के लॉस में थी और बन्द होने के कगार पर पहुँच चुकी थी अपनी कुशल नेतृत्व से इन्होने बैंक को 30 करोड़ रुपए का लाभ हुआ और यही बैंक आज 250 करोड़ रुपए लाभ पर काम कर रही है ।

2. राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (Rashtriya Swayamsevak Sangh)

अमित शाह जी(Amit Shah) ने 14 साल की उम्र में संघ के प्रचारक बने,
बहुत लोग ऐसा कहते है की अगर आप को भारतीय जनता पार्टी से जुड़ना है तो आपको पहले राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ से जुड़ना होगा और ये कुछ हद तक सही भी है अभी फिलहाल राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के नीचे 35 संगठन काम कर रहे है उन्ही में से एक भारतीय जनता पार्टी भी है अगर मैं सीधे तौर पर कहूँ तो भारतीय जनता पार्टी के जितने भी बडे नेता है वे चाहे वो लाल कृष्ण आडवाणी हो, नरेंद्र मोदी, अटल बिहारी वाजपेयी, और अमित शाह सब राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ से आये है ।
अमित शाह पहली बार नरेंद्र मोदी जी से 1982 में मिले उस समय नरेंद्र मोदी जी भी संध के प्रचारक थे फिर दोनों साथ मिल गए जो साथ आज तक कायम है हम लोगो ने ये भी देखा है की नरेंद्र मोदी जी जो भी निर्णय लेते है उनमें प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष रूप से अमित शाह जी का हाथ होता है

अमित शाह राजनीतिज्ञ (Amit Shah Politician)

अमित शाह ने अपने राजनीतिक जीवन की शुरुआत 1983 में आरएसएस की छात्र शाखा अखिल भारतीय विद्या परिषद के नेता के रूप में की फिर वे 1987 में भारतीय जनता पार्टी के युवा शाखा भारतीय जनता युवा मोर्चा से जुडे और फिर महा सचिव के पद पर पहुँचे ये समय था जब अयोध्या राम जन्म भूमि के तर्ज पर भारतीय जनता पार्टी ने चुनाव जीता और इसी मुद्दे पर बाकी राजनीतिक पार्टियों ने भी इसी को अपना एजेंडा बनाया और चुनाव जीता पर पर्दे के पीछे के हीरो थे लाल कृष्ण आडवाणी थे।
पर अमित शाह तब सबकी निगाहों के मरकज़ बने जब इन्होने 1991 में लाल कृष्ण आडवाणी जी के लोक चुनाव प्रचार का नेतृत्व किया तब आडवाणी जी ने इनके अंदर के हुनर को समझा और फिर गुजरात की राजनीति की तस्वीर भी बदल रही थी अक्टूबर 2001 में नरेंद्र मोदी गुजरात के मुख्यमंत्री बने और कुछ सालो में अमित शाह और नरेंद्र मोदी जी ने मिल कर अपने राजनीतिक प्रतिद्वंदियो का मुँह बंद कर दिया
अमित शाह जी ने 2002 में सरखेज से चुनाव लडा और सबसे ज्यादा अंतर से चुनाव जीता फिर खुद का रिकॉर्ड तोडते हुए 2007 में ये फिर जीते

नरेंद्र मोदी जी के 12 साल के कार्यकाल के दौरान अमित शाह एक शक्तिशाली नेता के तौर पर उभरे ।
उन्हे बारह विभागों की कमान सौपी गई जिनमें कानून, जेल, बॉर्डर सुरक्षा, गृह मंत्रालय, होम गार्ड, ग्राम रक्षक दल, और संसदीय मामले प्रमुख है ।
2009 में इन्हें गुजरात क्रिकेट एसोसिएशन का उपाध्यक्ष बने उस समय नरेंद्र मोदी गुजरात क्रिकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष थे, जब 2014 में नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री बने तब इन्होने गुजरात क्रिकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष की खुर्शी संभाली ।

भारतीय जनता पार्टी (Bharatiya Janata Party)

2014 में इन्हें भारतीय जनता पार्टी का अध्यक्ष बनाया गया,
और ये सबसे कम उम्र के भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष बने ।
24 जनवरी 2016 को इन्हें फिर भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष के तौर पर चुना गया ।
2014 से 2016 विधान सभा चुनाव के दौरान भाजपा ने महाराष्ट्र, हरयाना , जम्मू कश्मीर, झारखण्ड , उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, गुजरात और असम में जीत हासिल की ।
अमित शाह के नेतृत्व भाजपा ने 2019 में फिर विधान सभा चुनाव में जीत हासिल की ।

गृह मंत्री(Home Minister)

1 जून 2019 अमित शाह भारत के गृह मंत्री बने ।
5 अगस्त 2019 में अमित शाह ने राज्य सभा में जम्मू कश्मीर से धारा 370 हटाने और उसे केंद्र शासित राज्य बनाने का संकल्प लिया|
जब इन्सान जब बहुत ज्यादा उचाईयों पर पहुँचता है तो उसके साथ विवाद भी बढ़ते चले जाते है ।
अमित शाह विवादों में तब घिरे जब उनका नाम सोहराबुद्दीन
शेख़ की हत्या में इनका हाथ होने में शक जाहिर किया गया जो क्योंकि ये राजस्थान में मार्बल के बड़े व्यापारियों से वसूली करता था एक बहुत बडे मार्बल ट्रेडर से उसने पैसे वसूले फिर सारे मार्बल ट्रेडर पहुँचे राजस्थान के गृह मंत्री गुलाब सिंह चौटाला के पास पर वो भी कुछ ना कर सके क्योंकि ऐसा माना जाता है की सोहराबुद्दीन को पोलिटिकल सपोर्ट था ।
फिर मार्बल ट्रेडर पहुँचे अमित शाह जी के पास पर सोहराबुद्दीन राजस्थान जूरीडिक्शन में आता था ना की गुजरात जूरीडिक्शन में , सोहराबुद्दीन के उपर फिर गुजरात में केस रजिस्टर किया जाता है और उसे गुजरात लाया जाता है और उसे मार दिया जाता है ये केस बहुत हाई प्रोफाइल केस था क्योंकि इस केस में अमित शाह, राजस्थान के गृह मंत्री , डी . जी वनजारा जैसे आईपीएस अधिकारीयों के नाम भी शामिल थे ।
जब इस केस पर जांच बैठाया गया तो अमित शाह लगभग जेल चले ही गए थे ।

तो  दोस्तो  कुल मिलाकर  हम ये कह सकते है की अमित शाह एक कुशल  राजनीतिज्ञ और रणनीतिकार है खैर ऐसा लगता है  की हमें भविष्य में और भी ऐसी चीजे देखने को मिलेगी जो पहले कभी  नही हुआ ।

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Ruchi singh chauhan
मेरा नाम रूचि सिंह चौहान है ‌‌‌मुझे लिखना बहुत ज्यादा अच्छा लगता है । मैं लिखने के लिए बहुत पागल हूं ।और लिखती ही रहती हूं । क्योकि मुझे लिखने के अलावा कुछ भी अच्छा नहीं लगता है में बिना किसी बोरियत को महसूस करे लिखते रहती हूँ । मैं 10+ साल से लिखने की फिल्ड मे हूं ।‌‌‌आप मुझसे निम्न ई-मेल पर संपर्क कर सकते हैं। [email protected]
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